भोपाल। उज्जैन में वाकणकर ब्रिज के पास सांवराखेड़ी में आयोजित भव्य सामूहिक विवाह सम्मेलन में मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के बेटे अभिमन्यु की शादी भी शामिल रही, और इसी समारोह में योगगुरु बाबा रामदेव ने मंच पर पहुंचकर इसे सनातन संस्कृति का अनोखा संगम बताया। बाबा रामदेव ने कहा कि यहां किसी तरह का बंधन नहीं है, और मुख्यमंत्री ने अपने बेटे की शादी सामूहिक विवाह में करवाकर इतिहास रच दिया है। उन्होंने वर-वधु को आशीर्वाद दिया और इस आयोजन की खुलकर प्रशंसा की।
विवाह स्थल के पास से सभी 22 जोड़ों की भव्य शोभायात्रा निकाली गई। दूल्हे पारंपरिक अंदाज़ में घोड़ी पर सवार हुए, जबकि दुल्हनें खूबसूरत बग्घियों में बैठकर मंडप तक पहुँचीं। रिश्तेदार बाराती बनकर बैंड-बाजों की धुन पर नाचते दिखाई दिए, जिससे पूरा वातावरण उत्सव और उमंग से भर गया।
इस समारोह की शान बढ़ाने के लिए कई राज्यों के मुख्यमंत्री, केंद्रीय मंत्री, संत-महात्मा और दिग्गज हस्तियां मौजूद रहीं। मंच पर बाबा रामदेव ने सीएम मोहन यादव की तारीफ करते हुए कहा कि सामूहिक विवाह में बेटे की शादी करना सामाजिक समरसता का संदेश देता है और यह सच में ऐतिहासिक कदम है।
विवाह स्थल पर इस विशाल आयोजन के लिए पाँच विशेष डोम तैयार किए गए। दूल्हा-दुल्हन के लिए अलग ग्रीन रूम बनाया गया, जबकि फेरे के लिए 15×15 आकार के 22 मंडप सजाए गए। मुख्य मंच 40×100 और दूसरा 50×25 आकार का तैयार किया गया है। इस सम्मेलन में 25,000 से ज्यादा मेहमानों के पहुँचने की उम्मीद है। 21 जोड़ों के 44 परिवारों से 25-25 सदस्यों को बुलाया गया है, हालांकि अधिक लोग आने पर भी किसी तरह की रोक नहीं है। यह पूरा आयोजन परंपरा, आध्यात्मिकता और भव्यता का अनूठा मिलन बनकर सामने आया।

