भोपाल। मध्य प्रदेश के पचमढ़ी में आज राहुल गांधी ने कांग्रेस नेताओं के साथ एक अहम बैठक की, जो आने वाले चुनावों के लिए बेहद निर्णायक मानी जा रही है। अंदर की खबर ये है कि बैठक में गुटबाजी का मुद्दा खुलकर उठा। राहुल गांधी ने साफ कहा कि अब वक्त ‘एकला चलो’ की सोच छोड़कर मिलजुलकर चलने का है। पार्टी को सामूहिक निर्णयों के ज़रिए आगे बढ़ना होगा और लगातार PAC और सामान्य समिति की बैठकें होनी चाहिए ताकि संवाद बना रहे।
बैठक में प्रदेश प्रभारी हरीश चौधरी को लेकर दिए गए कमलेश्वर पटेल के बयान का मामला भी चर्चा में रहा। राहुल गांधी के सामने कमलेश्वर पटेल ने अपनी सफाई देते हुए कहा कि उन्होंने जो भी बयान दिया था, वो पार्टी के हित में था, किसी व्यक्ति के खिलाफ नहीं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की एकजुटता ही जीत की कुंजी है, इसलिए सभी को निजी मतभेद भुलाकर एक साथ काम करना होगा।
प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने भी सभी वरिष्ठ नेताओं से सहयोग मांगा और कहा कि अगर कांग्रेस को फिर से मजबूत बनाना है, तो हर कार्यकर्ता को बूथ स्तर तक जुटना होगा। राहुल गांधी ने नेताओं को स्पष्ट संदेश दिया — “हम मामूली अंतर से हारे हैं, लेकिन अगली बार ये अंतर जीत में बदलना है। सबको मिलकर हिम्मत से लड़ना है, सरकार कांग्रेस की बनेगी।”
इस दौरान दिग्विजय सिंह ने राहुल गांधी को जीत का पूरा प्लान सौंपा। उन्होंने बूथ स्तर तक पार्टी संगठन को मजबूत करने का सुझाव दिया और एक विस्तृत ब्लूप्रिंट पेश किया जिसमें बताया गया कि कैसे गांव-गांव तक कांग्रेस का नेटवर्क फिर से खड़ा किया जा सकता है।
पचमढ़ी की यह बैठक न सिर्फ रणनीति की दृष्टि से अहम रही, बल्कि इसने कांग्रेस नेताओं को एकजुटता का संदेश भी दिया। राहुल गांधी के इस संवाद के बाद पार्टी में नई ऊर्जा और एकता का माहौल देखने को मिला है।

